नमस्कार दोस्तों, मेरा नाम मेहुल शर्मा है और मैं देहरादून का रहने वाला हूँ। मेरी उम्र 25 साल है और मैं दिखने में थोड़ा अच्छा हूँ, लेकिन मेरे शरीर की बनावट में कोई खराबी नहीं है।
आज की कहानी पड़े: Dukandar ne Patakkar choda – दुकानदार ने साड़ी के बदले गांड ली और सूट के बदले चूत ली
मैं काफी लम्बा चौड़ा हूँ और एक प्राइवेट कंपनी में काम करता हूँ। दोस्तों आज जो कहानी मैं आप सभी चाहने वालों को सुनाने जा रहा हूँ वो मेरी पहली और सच्ची कहानी है और ये मेरे साथ कुछ समय पहले घटित हुई है।
में बहुत समय से Readxstories.com पर Bhabhi Sex Stories पढ़ता आ रहा हूँ, जिनको पढ़कर मुझे बहुत मज़ा आया और आज में अपनी पहली घटना बताने जा रहा हूँ और अब में आपको ज्यादा बोर ना करते हुए सीधे अपनी कहानी पर आता हूँ।
दोस्तों यह घटना तीन महीने पहले की है जब एक दिन मैं अपने एक बहुत करीबी दोस्त की दुकान पर बैठा हुआ था और उससे बात कर रहा था. फिर कुछ देर बाद उसकी दुकान पर एक 25 साल की भाभी आई, उसका नाम आरती था और वो कुछ कपड़े खरीदने आई थी, तो वो उसे कपड़े दिखाने लगा और मज़ाक भी कर रहा था, शायद वो उसकी पुरानी ग्राहक थी.
वो भी उसकी बातों का बहुत हंसते हुए जवाब दे रही थी और मैं भी वहीं बैठकर अपने मोबाइल पर मैसेज पढ़ रहा था और मैं भी मैसेज पढ़कर खुश था और हंस रहा था.
तभी उस भाभी ने मेरी तरफ देखा और मुझसे पूछा कि क्या तुम हमारी बातें सुनकर हंस रहे हो? तभी मेरा ध्यान उसकी तरफ गया, उसका फिगर साईज करीब 24-28-32 था और वो दिखने में बहुत पतली, बहुत मस्त और बहुत सुंदर थी. में कुछ देर तक उसके सेक्सी उभरे हुए बूब्स को देखता रहा और फिर में वहां से उठा और उसे अपना मोबाईल दिखाया और दोबारा मैसेज पढ़ने लगा, उस मैसेज के दो मतलब थे, जिसे पढ़कर वो भी हंसने लगी और मेरी तरफ देखने लगी.
दोस्तो, मैं क्या कसम खाऊं, जिस तरह से उसने मेरी तरफ देखा, मुझे उससे प्यार हो गया और मैं उसके खूबसूरत चेहरे और सेक्सी बदन को देखता ही रह गया। फिर उन्होंने मुस्कुराते हुए मुझसे पूछा कि तुम क्या करते हो? तो मैंने उसे अपने बारे में सब कुछ बताया तो उसने मुझसे कहा कि प्लीज आप मुझे अपनी कंपनी में नौकरी दिला दो।
मैंने उसे अपना मोबाइल नंबर दे दिया, कुछ देर बाद वो चली गई और फिर उसके जाने के बाद मेरे दोस्त ने मुझे बताया कि वो चालू किस्म की औरत है, इसलिए वो सबको अपने जाल में फंसा लेती है और अपना बना लेती है. . फिर मैंने भी अपने दोस्त से कहा कि मुझे उससे क्या मतलब, बस उसे चोद रहा हूँ, एक बार जब हमें चूत मिल गई तो हम अपने-अपने रास्ते चले गए और फिर हम दोनों हंसने लगे। फिर मैंने अपने दोस्त से उसकी सारी जानकारी ली और उसके कॉल का इंतजार करने लगा.
फिर ठीक दो दिन बाद उसने मुझे मेरे नंबर पर कॉल किया और मुझसे पूछा कि मेरी नौकरी का क्या हुआ? तो मैंने उनसे कहा कि समय आने पर मैं सब कुछ दे दूंगा, लेकिन बदले में मुझे क्या मिलेगा? तो भाभी ने मुझसे कहा कि तुम मुझसे जो भी चाहोगे, वो तुम्हें मिल जायेगा. फिर मैंने कहा कि क्या तुम्हें एक बार और सोचना चाहिए? तो भाभी बोली कि हाँ मैंने पहले ही सब कुछ सोच लिया है.
दोस्तों में उनकी इस डबल मीनिंग बात का मतलब समझ चुका था और फिर मैंने भी मौके का फायदा उठाकर भाभी से कहा कि आप बहुत सुंदर हो और सेक्सी भी. फिर वो बोली कि क्या तुम मुझे पटाने की कोशिश कर रहे हो? तो मैंने तुरंत हाँ कह दिया, तो वो बोली कि में तो पहले से ही तुमसे प्यार करती हूँ और फिर हंसने लगी. फिर मैंने मौका देखकर भाभी से कहा कि अगर मैं आपसे पूछूं तो बताओ आप क्या कहेंगी?
फिर उसने कहा कि हट जाओ झूठा मुझसे मजाक कर रहा है और फोन काट दिया. फिर कुछ देर बाद उसका दोबारा फोन आया और जब मैंने उससे फोन काटने के बारे में पूछा तो उसने कहा कि बैटरी खत्म हो गई है और फिर उसने मुझे अगले दिन मिलने के लिए अपने घर बुलाया. अब तक हम बहुत खुल कर बातें करने लगे थे, वो मुझे अपने बारे में सब कुछ बता रही थी।
फिर उसके बाद मैंने कहा कि ठीक है कल मिलते हैं और फोन रख दिया और फिर अगले दिन उसने मुझे फोन किया और अपने घर का पता बताया जो मेरे घर से करीब पांच किलोमीटर दूर था. मैं दिन के करीब 2 बजे अपनी बाइक लेकर उससे मिलने गया और वो अपने घर पर मेरा इंतज़ार कर रही थी. फिर जैसे ही हम घर पहुंचे तो उसने मुझे जल्दी से अंदर बुलाया और बैठने को कहा.
फिर मैंने कुछ देर बैठकर उनसे पूछा कि उनका पति कहाँ है? तो वो बोली कि वो इस समय ड्यूटी पर गये है इसलिए वो घर पर एकदम अकेली है और फिर उन्होंने मुस्कुराकर मुझसे पूछा कि बताओ क्या पियोगे? मैंने कहा कि जो आप पिला दो, वो बोली कि जहर, तो में भी मज़ाक में बोला कि हाँ भाभी वो भी आप मुझे पिला दो, लेकिन अपने गुलाबी रसीले होंठो से लगाकर. अब वो शरमाकर नीचे देखने लगी कि तभी मैंने उनका एक हाथ पकड़ लिया और उन्हें अपनी तरफ खींच लिया और वो झट से मेरे ऊपर आ गिरी.
मैंने तुरंत अपने होंठ उनके होंठो पर रख दिए, लेकिन उन्होंने मुझसे मना नहीं किया और फिर वो मेरा साथ देने लगी. अब में उन्हे किस करते हुए उनके गले को चूमने लगा और उनके बूब्स को ज़ोर ज़ोर से दबाने लगा कुछ देर बाद उन्हे भी मज़ा आने लगा और उनका शरीर गरम होने लगा. उन्होंने सेक्सी आवाज़े निकालनी शुरू कर दी और ज़ोर से आअहहह उफ्फ्फ्फ़ प्लीज वाह मज़ा आ गया स्सईईईई करने लगी और सिसकियाँ लेने लगी.
फिर मैंने भी जोश में आकर बिना कुछ बोले और कस कसकर उनके बूब्स को दबाना और मसलना शुरू कर दिया. अब में कभी उनके होंठो पर किस करता तो कभी गालों पर, कभी गले को चूमता और धीरे धीरे उनके बूब्स के बीच में अपना मुहं डालते हुए वहां पर ज़ोर ज़ोर से चूमने लगा, लेकिन तभी उन्होंने मेरा हाथ एक ज़ोर का झटका देकर तुरंत अपने बूब्स पर से हटा दिया और तुरंत अपना ब्लाउज उतार दिया और फिर ब्रा को उतारते हुए उन्होंने मेरी शर्ट को भी उतार दिया.
अब में बहुत ज़ोर से पूरे जोश में आकर उनके बूब्स को दबाने और चूसने लगा, जिसकी वजह से भाभी को बहुत मज़ा आ रहा था और वो भी जोश में आती जा रही थी और अब मेरा एक हाथ भाभी की चूत को सहला रहा था, वो सिसकियाँ ले रही थी और आआअहह आईईईई उफफ्फ्फ्फ़ कर रही थी. दोस्तों में अपने एक हाथ से उनके एक बूब्स को दबा रहा था और दूसरे से उनकी चूत को मसल रहा था. फिर कुछ देर बाद जब मैंने उनकी चूत के छेद में अपनी एक उंगली डाली तो वो बहुत ज्यादा जोश में आ गई और आईईईइईई सीईईईईईईई करने लगी और वो मेरे सर को ज़ोर से अपनी छाती के ऊपर दबाने लगी.
फिर मैंने भाभी की ब्रा उतार दी और उसके मस्त गोल, बड़े स्तन दबाने और चूसने लगा और वो मेरे कपड़े उतारने लगी। फिर कुछ देर बाद मैं सिर्फ अंडरवियर में था और भाभी भी पैंटी में थी. मैंने भाभी के पूरे शरीर को चूमा और चाटना शुरू कर दिया. भाभी भी मेरा पूरा साथ देने लगी थी और अब मैंने उनको स्मूच करते हुए अपना लंड भाभी की चूत में डाल दिया. एक बार में मेरा आधा लंड ही अंदर गया था और फिर दूसरे झटके में मैंने अपना पूरा लंड अंदर डाल दिया और ऐसा करते ही उसके मुँह से एक जोरदार चीख निकली और उसने मुझे कसकर पकड़ लिया.
फिर मैंने उसके होंठों को अपने होंठों में दबा लिया और थोड़ी देर के लिए रुक गया. धीरे-धीरे जब उनका दर्द कम हुआ तो मैंने अपना लंड अन्दर-बाहर करना शुरू कर दिया और अब भाभी को भी बहुत मजा आने लगा। वो भी मेरा साथ देने लगी और वो मुझसे कहने लगी हाँ और ज़ोर से करो राहुल, आह्ह, तेज़, उफ्फ़, हाँ, जितनी तेज़ तुम कर सकते हो, आईईईईई, करो. फिर उसके मुहं से यह बात सुनकर मुझे भी और जोश आ गया और में अपनी पूरी ताकत से अपना लंड उसकी चूत में डालने लगा.
फिर हमारी चुदाई करीब 30 मिनट तक चलती रही और इतनी देर में भाभी तीन बार झड़ चुकी थी और कुछ देर बाद मैं भी उनकी चूत में ही झड़ गया. फिर हम दोनों नंगे ही एक दूसरे से चिपक कर लेट गये और मैं कुछ देर तक उसके बदन से खेलता रहा. दोस्तों मैंने उसे अपनी चुदाई से पूरी तरह से खुश कर दिया था और वो मेरी चुदाई से बहुत संतुष्ट थी. फिर कुछ देर बाद वो वहां से वापस अपने घर आ गया.
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