November 21, 2024
ढोंगी बाबा xxx

हेलो दोस्तों मैं काजल हूं, आज मैं एक नई सेक्स स्टोरी लेकर आ गई हूं जिसका नाम है “ढोंगी साधु बाबा ने बीवी की चुत में अपना माल निकला – ढोंगी बाबा xxx”। यह कहानी विशाल की है आगे की कहानी वह आपको खुद बताएँगे मुझे यकीन है कि आप सभी को यह पसंद आएगी।

मेरा नाम विशाल है मेरी देसी चुदाई कहानी में आपका स्वागत है. आप सभी जानते ही हैं कि मैं अपनी बीवी को खुद चोदता हूँ और जब भी मौका मिलता है, मैं दूसरों से भी चुदवाता हूँ.

पिछली बार मैंने निशा को दिल्ली के बस स्टैंड पर दूसरे मर्द से चुदवाया था. अब मैं फिर से तैयार था, कि कोई निशा को चोदे.

एक दिन हमारे घर एक साधु आया. वो मुझे एक ढोंगी सा लगा. जब निशा ने उस साधु को पैसे दिए, तो मेरी नज़र उस पर ही थी. साधु निशा को बड़े ध्यान से देख रहा था. (ढोंगी बाबा xxx)

शायद उसने अपनी आँखों में निशा के बदन का पूरा नाप ले लिया था (32-30-34). फिर साधु अपने होंठों पर जीभ फिराता रहा. मैं समझ गया कि साधु निशा को चोदना चाहता है.

साधु की लुंगी में तंबू बन गया था, पर साधु भी डरा हुआ था. मैं पीछे के दरवाजे से बाहर निकला, और बाहर खड़ा होकर उन दोनों को देखने लगा.

साधु निशा से कुछ कह रहा था. फिर जब निशा अंदर गई, तो साधु निशा की गांड देखकर अपना लंड दबाने लगा. थोड़ी देर में निशा ने रोटी और सब्जी हाथ में लेकर साधु को दे दी। साधु ने एक हाथ निशा के सिर पर रखा और बाहर निकलने लगा।

अब साधु आगे चलने लगा और मैं उसके पीछे-पीछे। थोड़ा आगे जाने पर साधु ने सब्जी और रोटी फेंक दी। फिर वह झाड़ियों के पीछे चला गया। मैं छुपकर साधु को देखता रहा।

साधु ने अपनी लुंगी उठाई और अपना लंड बाहर निकला। उसका लंड 7 इंच लंबा और 3 इंच मोटा लग रहा था। साधु ने मुठ मरना शुरू कर दिया और काफी देर बाद उसका माल निकल गया। फिर मैं घर आ गया।

निशा मुझसे पूछने लगा: तुम कहाँ गए थे?

मैंने कहा: मुझे कुछ काम था।

फिर निशा खुद ही बोलने लगी: घर आए साधु मुझे चमत्कारी लगे।

मैंने पूछा: कैसे?

फिर निशा बोली: साधु महाराज ने कहा था कि बेटी, जल्दी ही तुम माँ बन जाओगी। बस तुम्हें कुछ उपाय करने होंगे।

मैं सोचने लगा: सभी डॉक्टर्स ने कहा है कि निशा कभी माँ नहीं बन सकती, तो ये साधु उसे माँ बनाने के लिए क्या करेगा?

मैंने निशा से कहा: देखो साधु ने तुम्हें चोदने के लिए ऐसा कहा है या नहीं।

निशा बोली: तुम ही हो जो मुझे दूसरों से चुदवाने की कोशिश करते रहते हो, और तुम्हें साधुओं के बारे में ऐसी बातें नहीं कहनी चाहिए। (ढोंगी बाबा xxx)

मैंने कहा: ठीक है, साधु जो कहे वो करो। तुम खुश हो तो मैं खुश हूँ।

निशा खुश हो गई और खाना बनाने चली गई। अब मैं रोज़ पीछे का दरवाज़ा खोलकर बाहर निकल जाता, और साधु के आने का इंतज़ार करता। लेकिन अगर साधु नहीं आता तो मैं घर आ जाता।

एक दिन, सुबह करीब 1 बजे, मैंने साधु को दूर से आते देखा। मैं समझ गया कि आज वो ज़रूर निशा को चोदेगा और फिर चला जाएगा।

तो मैंने निशा से कहा: निशा, मैं बाहर जा रहा हूँ, तुम खाना खा लेना। मैं 4-5 बजे तक ही वापस आऊँगा।

निशा बोली: ठीक है।

जाते समय मैंने पीछे का दरवाजा खोला और बाहर जाकर साधु के घर आने का इंतजार करने लगा। कुछ देर बाद साधु घर पर आया। उसने घर का दरवाजा खटखटाया। निशा ने दरवाजा खोला तो देखा कि साधु महाराज आए हुए हैं। (ढोंगी बाबा xxx)

निशा बोली: बाबाजी, आप बहुत दिनों बाद आए हैं।

साधु बोले: बेटी, हम साधु हैं, आज यहां हैं, कल वहां होंगे।

निशा साधु को अंदर ले आई। निशा ने साधु को पानी पिलाया। फिर वह साधु के पास बैठ गई और उनसे पूछने लगी-

निशा: बाबा जी, क्या मैं सच में मां बनूंगी?

साधु बोले: तुम माँ जरूर बन पाओगी, लेकिन तुम्हें कुछ तप करना होगा, और जो भी मैं पूछूंगा, तुम्हें बताना होगा।

निशा बोली: बाबा जी, मैं सब कुछ करने के लिए तैयार हूं।

साधु ने फिर निशा से कहा: अभी घर में और कौन है?

निशा बोली: मैं अकेली हूँ, मेरे पति 4-5 बजे तक आ जाएँगे।

साधु की आँखें चमक उठीं।

फिर साधु ने निशा से कहा: बेटी, दरवाजा बिलकुल बंद कर लो। तुम्हारी तपस्या कोई देखना नहीं चाहिए।

निशा ने दरवाजा अन्दर से बंद कर लिया।

साधु बोले: बेटी, अब हमें तपस्या शुरू करनी है, सबसे पहले जाकर नहा लो और बिना कपड़ों के, भीगे बदन के साथ बाहर आओ। (ढोंगी बाबा xxx)

निशा बोली: बाबा जी, आप क्या कह रहे हैं?

साधु बोले: बेटी, तुम माँ बनने का सुख पाना चाहती हो या नहीं?

निशा बोली: मैं माँ बनने के लिए कुछ भी कर सकती हूँ।

फिर निशा बाथरूम में चली गई। साधु ने अपनी पोटली से कुछ सामान निकाला और बैठ गए। कुछ देर बाद निशा बिलकुल भीगी और नंगी बाहर आई। साधु निशा को देखते रह गए। (ढोंगी बाबा xxx)

निशा बोली: बाबा जी, अब तुम क्या करना चाहते हो?

साधु बोले: मेरे पास आओ और अपने पैरों का सहारा लेकर बैठ जाओ।

निशा बैठ गई। फिर साधु ने कुछ जलाया और निशा की चुत के पास धुआँ छोड़ने लगा।

फिर साधु ने निशा से कहा: अपनी चुत खोलो ताकि यह धुआँ अंदर चला जाए।

निशा ने वैसा ही किया। कुछ देर बाद साधु ने धुआँ हटाया और निशा से कहा: यहाँ लेट जाओ, और अपनी चुत को ऊपर उठाओ।

निशा लेट गई। साधु ने निशा की चुत पर हाथ रखा, और कुछ मंत्र पढ़ने लगा। वह बहुत देर तक मंत्र पढ़ता रहा। फिर साधु ने निशा की दोनों टाँगें फैला दीं। (ढोंगी बाबा xxx)

अब निशा की चुत और चूचे साधु की आँखों में सामने साफ़ दिखाई दे रहे थे। साधु ने निशा की चुत को सहलाना शुरू कर दिया। निशा कुछ नहीं बोल रही थी।

फिर साधु ने निशा से कहा: बेटी, तुम तो बहुत पहले ही माँ बन जाती, दोष तुम्हारे पति का है, और अगर अभी तक तुम्हारी चुत में किसी पुरुष का माल नहीं गया है, तो तुम कभी माँ नहीं बन पाओगी।

निशा कहने लगी: बाबा जी, अब मैं पुरुष कहाँ से लाऊँ?

तब साधु कहने लगे: बेटी, यदि तुम्हें कोई आपत्ति न हो तो क्या तुम मेरे बच्चे की मां बनोगी?

उसने निशा को अपनी बातों में फंसा लिया था, इसलिए निशा ने हाँ में सर हिला दिया. अब साधु खुद भी नंगा हो गया. उसका लंड निशा को चोदने के लिए पहले से ही खड़ा था.

साधु ने निशा को उठाकर बिस्तर पर लिटा दिया और अपने लंड पर थूक लगाकर अपना लंड निशा की चूत में डाल दिया. फिर वो धीरे धीरे अपना लंड निशा की चूत में डालने लगा. उसका लंड मेरे लंड से थोड़ा मोटा और थोड़ा लम्बा था, लेकिन निशा को दर्द हो रहा था. (ढोंगी बाबा xxx)

साधु ने पहले धीरे धीरे अपना पूरा लंड निशा की चूत में डाला. फिर काफी देर तक चोदने के बाद साधु ने निशा को कुतिया बना दिया और इस बार किसी प्रोफेशनल की तरह निशा की चूत चोदते हुए वो निशा की गांड पर थप्पड़ मारने लगा.

उसने निशा को करीब 40 मिनट तक जम कर चोदा. फिर उसने अपना पूरा माल निशा की चूत में निकल दिया.

साधु निशा के बगल में लेट गया. कुछ देर बाद साधु उठ गया. शायद उसने घड़ी देखी और 4 बजने वाले थे. इसलिए उसने अपने कपड़े पहन लिए. फिर उसने कपड़े से निशा की चूत को साफ किया, और निशा की चूत से थोड़ा पानी निकाला.

फिर साधु ने निशा से कहा: बेटी, यह बात किसी को मत बताना. वरना सारा किया-धरा बेकार हो जाएगा.

मैं तुम्हारे अंदर का पानी अपने साथ ले जा रहा हूँ. अगर कोई कमी हुई तो मैं खुद तुम्हारे पास आ जाऊँगा. निशा भी उठ गई. उसने नंगी ही साधु के पैर छुए और उनका आशीर्वाद लिया.

साधु ने कहा: बेटी, नहाकर कपड़े पहन लो.

फिर साधु चला गया, और निशा भी नहाने चली गई। मैं भी बाहर चला गया। फिर कुछ देर बाद मैं घर आ गया। निशा बहुत खुश दिख रही थी।

मैं समझ गया था कि निशा साधु से चुदवाकर खुश है। मैं आपको अगली कहानी में बताऊंगा कि कैसे उस साधु ने निशा की गांड मारी और उसे खुल कर चोदा। आपको मेरी बीवी की चुदाई की कहानी कैसी लगी, मुझे जरूर बताएं।

अगर आप ऐसी और कहानियाँ पढ़ना चाहते हैं तो आप “readxxxstories.com” की कहानियां पढ़ सकते हैं।

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