हेलो दोस्तों मैं काजल हूं, आज मैं एक नई सेक्स स्टोरी लेकर आ गई हूं जिसका नाम है “चाची की मोटी गांड की चुदाई–chachi ki gandfad xxx” यह कहानी कुनाल की है आगे की कहानी वह आपको खुद बताएँगे मुझे यकीन है कि आप सभी को यह पसंद आएगी।
दोस्तों मेरा नाम कुनाल, मैं आपको सिर्फ मेरे और मेरी चाची के बीच की मस्ती के बारे में बताऊंगा
जो इस बार गांव में मनाई गई।
मैं बुलंदशहर का रहने वाला हूं, दिल्ली में पढ़ाई कर रहा हूं।
मैं देखने में काफी सुन्दर हूं और मुझे हमेशा अपने से बड़ी उम्र की औरतें आकर्षित करती हैं।
मैंने बहुत सी औरतों को चोदा है।
मैंने अपनी चाची को चोदा है, मैंने अपनी टीचर को खूब चोदा है। ट्यूशन वाली बहन के बारे में मत पूछो।
लेकिन आज जो भी मैं आपको बताने जा रहा हूं, मेरे ख्याल से सबसे हॉट मेरी चाची हैं। आज मैं उनकी सेक्स कहानी आपके सामने पेश कर रहा हूं।
मेरी चाची जो की 31 साल की है, बहुत ही खूबसूरत, गोरी, लम्बी, बड़ी गांड, मस्त चूचे , गुलाबी होंठ, क्या बताऊँ दोस्तों, सच बताऊँ तो मैंने ना जाने कितनी रातें अपनी चाची के बारे में सोच कर मुठ मारी,
मुझे उनके नाम से मुठ मार कर बहुत संतुष्टि मिलती है,
चाची का नाम दीपांशी है, चाचा आर्मी में थे, आर्मी में ही ऐसी घटना घटी की उनका दाहिना पैर कट गया,
उन्हें सरकार से बहुत मुआवजा मिला और वो गाँव आ गए, वहीं रहने लगे, मेरा कॉलेज बंद हो गया था, इस वजह से मैं कुछ दिनों के लिए गाँव चला गया, chachi ki gandfad xxx
जब मैं गाँव पहुँचा तो पता चला कि चाचा की गाँव के पास ही एक कंपनी है, वो वहाँ पर नाइट शिफ्ट में काम करने लगे। कभी कभी तो वो दो दिन तक नहीं आते थे।
चाचा जी मुझसे कह रहे थे कि मुझे घर पर बैठना अच्छा नहीं लगता इसवजह से मैंने जॉब कर कर ली ऐसे किसी चीज की कमी नहीं है ना तो ये जॉब मैं पैसे के लिए कर रहा हु,
मैं ये नौकरी सिर्फ अपने आपको व्यस्त रखने के लिए कर रहा हूं,
फिर चाचा जी शाम को 7 बजे चले जाते थे,
मैंने अपने घर पर ही खाना खाया और फिर चाची जी के यहां टीवी देखने लगा,
तो चाची ने कहा तुम यहीं सो सकते हो, जब तक तुम यहां हो मुझे भी अच्छा लगेगा, चाचा जी जब आप रात को नहीं होते हो तो थोड़ा अकेलापन लगता है,
मैंने भी हां कर दी। रात को चाची जी ने गुलाबी रंग की नाइटी पहनी थी।
अंदर ब्रा नहीं पहनने की वजह से उनके चूचे हिल रहे थे और निप्पल साफ दिख रहे थे। 5 और 7 साल के दो छोटे बच्चे भी थे। वो दोनों जल्दी सो जाते थे। चाची जी की पायल की आवाज मेरे दिल को छू रही थी। सच बताऊं तो,
चाची को देखते ही मैं पिघल गया।
मैं अपनी नज़रें उनके चूचो से हटा नहीं पा रहा था।
मैं सोच रहा था कि कैसे उनके चूचो को दबाऊँ, पर यह संभव नहीं था।
मैं चाची के बारे में सोच रहा था और टीवी के रिमोट से चैनल बदल रहा था।
चाची बाहर आ गई और मैं उनके पास बैठा था।
अरे, क्या बताऊँ दोस्तों, चूतड़ हिलते हुए जा रहे थे, मचल रही थी उन्होंने ऊपर से टेम्पटेशन डिओडोरेंट लगाया हुआ था।
मेरा मन कर रहा था कि मैं उनके शरीर को चाटूँ।
वो पास से गुजरी, शायद वो बाथरूम जा रही थी,
सोने का समय हो गया था, तभी मुझे बाथरूम में खटपट की आवाज सुनाई दी,
मैं दौड़कर वहां गया तो देखा कि चाची गिर गई थी, वो कुछ बोल नहीं पा रही थी, chachi ki gandfad xxx
वो अपनी कमर पकड़ कर बैठी थी और उनका चेहरा ऐसा लग रहा था जैसे वो रो रही हो, मैंने तुरंत उन्हें उठाने की कोशिश की लेकिन उनका वजन करीब 55 किलो था और ऊपर से मैं उन्हें ऐसे नहीं उठा सकता था, पता नहीं उन्हें बुरा लगता या नहीं,
मैंने उन्हें अपने हाथ से सहारा दिया और उठाया,
वो वजन मेरे ऊपर रखते हुए चलने लगी, मैंने उन्हें बेडरूम में लाने की कोशिश की,
वो कह रही थी कि उनकी कमर में बहुत ज्यादा चोट लगी है, बहुत दर्द हो रहा है।
मैं उन्हें पकड़ कर चल रहा था, उनके चूचे मेरे हाथ को छू रहे थे,
सच बताऊँ दोस्तों मैं इतना बदमाश हूँ कि किसी को दर्द हो रहा था और मेरा लंड खड़ा हो रहा था, उनके बदन की खुशबू मुझे महसूस हो रही थी, उनके गुलाबी होंठ और गाल मेरे होंठों के इर्द-गिर्द थे,
तो मुझे भी बेचैनी हो रही थी, मैंने उन्हें बिस्तर पर लेटा दिया, और पूछा चाची कैसा लग रहा है?
अगर आप कहें तो हम आपको डॉक्टर के पास ले चल सकते हैं, तो चाची बोली रात काफी हो गई है, मैं किसी तरह रात काट लूँगी, सुबह दिखाऊँगी, लगता है मांस फट गया है और हड्डियाँ भी चोटिल हो गई हैं।
तो मैंने कहा रात भर में ज्यादा हो जाए तो, तो वो बोली चलो गर्म पानी और नमक से धो लेते हैं और फिर बाम से मालिश कर देते हैं, आराम मिलेगा।
मैने पूछा क्या गरम पानी लगाऊं, वो बोली हां गरम पानी ले आओ, मैने रसोई से गरम पानी ला दिया,
पर कमर पर कैसे लगा सकता था, मैने कहा चाची जी कैसे लगा सकता हूँ, उन्होंने अपनी नाइटी कमर से ऊपर उठा ली, नीचे उन्होने पेटीकोट पहना हुआ था, तो मुझे सिर्फ पीठ ही दिख रही थी, chachi ki gandfad xxx
मैने उनको गरम पानी लगाना शुरू किया, पर जैसे ही मेरा हाथ उनके गोरे बदन पर लगा मेरा लंड सलामी देने लगा,
रात के करीब 11:30 बज रहे थे,
मैने अलमारी से उनके लिए बाम निकाला और उनकी कमर पर मालिश करने लगा, मालिश कर रहा था, मैने चाची से पूछा अब कैसा लग रहा है?
पर वो कुछ नही बोली, वो सो चुकी थी, अब मेरे हाथ के स्पर्श का तरीका बदल गया, मैने उनकी पीठ और कमर को सहलाना शुरू कर दिया, धीरे धीरे करीब 10 मिनट में मेरा लंड और भी टाइट हो गया था,
मैने चाची के कोट का नाडा खोला और थोड़ा बाम लेकर पीछे से उनके उभरे हुए चूतड़ पर लगाना शुरू कर दिया, मैने धीरे धीरे उनका पेटीकोट नीचे सरका दिया,
हे भगवान चाची की गांड मेरे सामने थी।
दोस्तों, क्या बताऊँ, मेरी हालत खराब होने लगी थी। धीरे-धीरे मैं अपनी उंगली चाची की गांड के बीच में ले जाने लगा।
मैं उनके पूरे चूतड़ सहला रहा था। फिर चाची पलटी और सीधी बैठ गई। अब उनकी चूत मेरे सामने थी। उनका पेटीकोट थोड़ा नीचे आ गया था और उनकी चूत साफ दिखाई दे रही थी।
मैंने फिर से बाम लिया और उनके पेट को सहलाने लगा,
मैंने अपनी उंगली उनकी नाभि में डाली और सहलाता रहा पर मैं उनकी चूत तक नहीं पहुँच पाया।
उनके पेट को सहलाते हुए मैं उनके चूचो को छूने लगा और धीरे से उनकी नाइटी को ऊपर खींच दिया।
उनके चूचे और चूत दोनों मेरे सामने थे।
मैं उनके सामने बैठा था, उनके जिस्म का भूखा।
मेरा मन कर रहा था कि अभी उनकी चूत में अपना लंड डाल दूँ।
सब कुछ मेरी बर्दाश्त से बाहर हो चुका था।
मैं उनके चूचो को दबाने लगा और अपनी उंगली से उनके निप्पल दबाने लगा।
मैं उनके चेहरे के भाव देख रहा था। chachi ki gandfad xxx
वो कभी कभी अपने होंठों को अपने दांतों से दबा रही थी।
उनके मुँह के भाव से साफ़ पता चल रहा था कि उन्हें मेरे हाथ का स्पर्श अच्छा लग रहा था।
मैंने अब अपनी उंगली उनकी गोरी चूत के ऊपर काले बालों में फिराई।
तभी उसने आह की आवाज़ निकाली और मुझे लगा जैसे वो खिंचने लगी है।
फिर मैं अपनी उंगली उनकी चूत के छेद पर ले गया।
तभी उनकी चूत से पानी निकलने लगा।
उनकी चूत चिकनी हो चुकी थी। मैंने अपनी उंगली उनकी चूत में डाली और उन्होंने अपनी टाँगें फैला दीं।
मैं समझ गया कि उन्हें चुदने का मन कर रहा है।
अब मैंने अपनी उंगली पूरी तरह से उनकी चूत में डाल दी और धीरे धीरे अंदर बाहर करने लगा।
करीब पांच मिनट के बाद उनके मुंह से आह आह आह उफ़ उफ़ उफ़ उफ़ उफ़ उई माँ उई माँ उई माँ, ओह्ह्ह ओह्ह्ह ओह्ह्ह जैसी आवाजें निकलने लगी।
मैं भी तेजी से करने लगा। उन्होंने मेरा हाथ पकड़ लिया और बोली अब और बर्दाश्त नहीं होता, चोदो मुझे।
इतना कहते ही उन्होंने अपनी आंखें खोली और मुझे अपनी ओर खींच लिया और मेरे होंठ चूसने लगी।
मैं उनके होंठ चूसते हुए उनके दोनों चूचो दबाने लगा।
वो अपना पैर मेरे पैर से रगड़ने लगी। फिर उन्होंने धीरे धीरे मेरे सारे कपड़े उतार दिए और अपनी नाइटी भी उतार दी।
वो मेरे ऊपर चढ़ गई, मैं नीचे था, वो मेरे होठों, गालों, बालों को चूमने लगी, उनके बड़े सुडौल चूचे मेरी छाती पर घूम रहे थे,
मैं उनके चूतड़ को दबा रहा था और उनको अपने लंड पर रगड़ रहा था,
फिर वो नीचे हो गई, मैं ऊपर हो गया, फिर मैं उनके चूचो को चूमने, चूसने लगा,
ये क्रम करीब दस मिनट तक चलता रहा,
फिर चाची बोली अपना लंड मेरे मुँह में डाल दो, मैंने वैसा ही किया, वो मेरा लंड चूसने लगी, फिर बोली अब चोदो मुझे, इतना चोदो कि मेरे शरीर में जो आग लगी है उन्हें शांत कर दो।
मैंने उनकी टांग अपने कंधे पर उठाई और अपने लंड का टोपा उनकी गीली चूत के छेद पर रखा और अन्दर धकेल दिया, chachi ki gandfad xxx
फिर क्या, सारी रात कभी ऊपर से, कभी नीचे से, कभी खड़े होकर, कभी गोद में बिठाकर, कभी घोड़ी बनाकर, मैंने सारी रात उन्हें चोदा, तब से करीब 8\9 दिन हो गए,
मैं हर उन्हें रात चोदता हूँ, जिंदगी मजेदार हो गई है, पर आज मैं बहुत निराश हूँ क्योंकि मेरी ट्रेन कल है, मैं अपनी प्यारी चाची को छोड़कर वापस दिल्ली जा रहा हूँ,
अगर आप ऐसी और कहानियाँ पढ़ना चाहते हैं तो आप “readxxxstories.com” की कहानियां पढ़ सकते हैं।