हमारी आज की हिंदी सेक्स कहानी जिसका शीर्षक है “गांव जाकर सेक्सी चाची को चोदो और उसकी हवस पूरी करी” में मैं आपको विश्वास दिलाता हूं कि इस कहानी को पढ़ने के बाद आप अपना लंड हिलाने से नहीं रोक पाएंगे चलिए शुरू करते हैं आज की देसी सेक्स कहानी।
मेरा नाम कार्तिक है और मेरी उम्र 22 साल है। मैं बैंगलोर का रहने वाला हूँ। मेरे लिंग का साइज़ 7 इंच है। लंड की मोटाई 2.5 इंच है। मुझे सेक्स करने का बहुत शौक है। आप इसे मेरी वासना भी कह सकते हैं। मुझे चुदाई करने में बहुत मजा आता है।
इस वेबसाइट पर यह पहली चुदाई की कहानी है जो मैं आपको बताने जा रहा हूं। अगर कहानी लिखने में कोई कमी रह जाए तो उसे नजरअंदाज कर देना।
मैं हर साल गांव जाता रहता हूं। मेरी चाची वहां रहती हैं। ये कहानी भी वहीं से जुड़ी है। यह बात दो साल पहले की है जब मैं छुट्टियों में गांव आया हुआ था।
वहां मैंने अपनी चाची के घर पर काफी समय बिताया और उनके परिवार से अच्छी तरह घुल-मिल गया। मेरी चाची की दो बेटियाँ और एक बेटा है।
उस वक्त घर में चाची और उनकी बेटी रहती थीं। उसका बेटा दूसरी जगह काम करता था।
मेरी चाची की कुँवारी बेटी का बदन बहुत भरा हुआ था। उसके मम्मे बहुत बड़े थे और गांड देखते ही लंड खड़ा हो जाता था।
एक दिन की बात है मैं सोफे पर बैठ कर टीवी देख रहा था। तभी पूनम (बुआ की बेटी) कमरे में झाड़ू लगाने के लिए आयी।
जब मैंने उसकी तरफ देखा तो मुझे उसकी चुचियाँ साफ़ दिखने लगीं। उसने नाइटी पहनी हुई थी। उसके चूचे देख कर मेरे मुँह में पानी आ गया।
मैं उसके स्तनों को घूर रहा था जब उसने मुझे देखा।
वो पूछने लगी- क्या देख रहे हो?
मेंने कुछ नहीं कहा।
वो मेरी बात सुनकर मुस्कुराने लगी। जब वो झाड़ू लेकर कमरे से बाहर जाने लगी तो उसने मेरे गाल पर प्यार से तमाचा मारा और हंसते हुए चली गयी। (सेक्सी चाची को चोदो)
मेरा लंड खड़ा हो गया था। मैं उसकी चुचियों को दबाते हुए उसकी चूत चोदने को बेताब था। शाम तक मैंने किसी तरह खुद पर काबू पाया।
रात को जब वो दोनों सो गये तो मैं भी लेटा हुआ था। पूनम का बिस्तर मेरे बिस्तर के बगल में था। चाची भी सो रही थी। मेरे लंड में हलचल मच गयी।
मैं चुपके से उठा और पूनम के पास गया। वह सो रही थी। मैं उसके बगल में लेट गया। मुझे लगा कि मौका अच्छा है। मेरा लंड पहले से ही खड़ा था।
उसके बगल में लेटकर मैंने धीरे से अपना हाथ उसकी मोटी और बड़ी-बड़ी चुचियों पर रख दिया। मुझे थोड़ा डर भी लग रहा था क्योंकि पास में ही चाची भी सो रही थी।
बिस्तर ज़मीन पर लगे हुए थे। मैं धीरे-धीरे पूनम की चुचियाँ दबा रहा था। उसकी नर्म नर्म चुचियों को छूने से मेरा लंड बेकाबू हो गया।
मैं उसकी चुचियों को थोड़ा जोर से दबाने लगा। तब भी वह किसी भी बात पर रिएक्ट नहीं कर रही थीं।
उसका शरीर गर्म हो रहा था और मैं उसके स्तनों को जोर-जोर से दबा रहा था।
फिर मैंने अपना हाथ उसकी नाइटी में डाल दिया। उसकी नाइटी को पैरों से ऊपर उठाने लगा।
उसकी मुलायम मुलायम जाँघों पर हाथ फेरते हुए मेरा हाथ उसकी पैंटी तक पहुँच गया।
अब मुझसे रुका नहीं जा रहा था। मैंने अपना हाथ उसकी पैंटी में डाल दिया। मैं उसके मोटे चूतड़ों को दबाते हुए अपना लंड उसकी गांड पर रगड़ने लगा। (सेक्सी चाची को चोदो)
मुझे बहुत मजा आ रहा था। उसकी चूत दूसरी तरफ थी।
मैं उसकी चूत को छूना चाहता था। जब चाची उठीं तो मेरे हाथ उनकी गांड पर थे। मैं तुरंत एक तरफ घूम गया।
मैंने तुरंत पूनम की नाइटी नीचे सरका दी और सोने का नाटक करने लगा।
मैंने देखा कि चाची उठकर पानी पीने के लिए रसोई में चली गईं और फिर वापस आकर मेरे बगल में लेट गईं।
मैं कुछ देर तक ऐसे ही लेटा रहा। मुझे घबराहट हो रही थी कि कहीं चाची ने मेरी हरकत देख न ली हो।
मैंने सोचा कि अभी रिस्क लेना ठीक नहीं है। चाची कुछ ज्यादा ही करीब लेटी हुई थीं। मैं वैसे ही चुपचाप लेटा रहा। मेरी आँखें बंद हो गईं और मैं सो गया।
रात को करीब एक बजे मेरी आंख खुली। मैंने देखा कि चाची मेरे बगल में थीं लेकिन उनकी साड़ी उनकी छाती पर नहीं थी।
चाची के ब्लाउज में उनके बड़े बड़े मम्मे देख कर मुझे अपनी आँखों पर यकीन नहीं हुआ।
चाची के चूचे तो उनकी बेटी पूनम से भी बड़े थे। ऐसा लग रहा था कि चाची की चुचियां ब्लाउज फाड़ कर बाहर आ जायेंगी। उनको इस हालत में देख कर मुझसे रहा नहीं गया और मैंने चाची की चुचियों को छू लिया।
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उसके स्तन सचमुच अद्भुत थे। मैंने कभी किसी औरत की छाती पर इतना बड़ा निपल नहीं देखा था। धीरे-धीरे मेरी हिम्मत बढ़ती गई और मैं चाची के मम्मों को सहलाने लगा। अब मैं बीच-बीच में उसकी चुचियां भी दबा रहा था।
मैंने दूसरी तरफ देखा तो पूनम गहरी नींद में सो रही थी। मैंने मौके का फायदा उठाने की सोची और चाची का ब्लाउज खोल दिया।
बटन खुलते ही उसके चूचे एकदम से बाहर आ गये। ऐसा लग रहा था जैसे किसी ने कबूतरों को पिंजरे से आज़ाद कर दिया हो।
चाची की चुचियों पर भूरे रंग के निपल्स थे। मैंने देखा कि उसके चुचे भी बहुत बड़े थे।
मैंने चाची की चुचियों के बीच के तने को अपनी जीभ से चाटा। वाह… उसकी चुचियों से बहुत ही मादक गंध आ रही थी। मैं चाची की चुचियों को पीने लगा।
मैं उसकी बड़ी-बड़ी चुचियों को दबाते हुए उसकी चुचियों को पी रहा था। ऐसा करते करते मेरा लंड फटने को हो गया था।
लिंग में दर्द शुरू हो गया था। अब मुझसे रुका नहीं जा रहा था। मेरे लंड को एक छेद चाहिए था तो मुझे चाची की चूत दिखी।
मैंने धीरे से चाची के पेट से उनकी साड़ी हटा दी और उनके पेटीकोट का नाड़ा खींच दिया।
अब पेटीकोट का नाड़ा चाची की नाभि से खुल चुका था। चाची की चूत अब बस कुछ ही देर की दूरी पर थी।
मैंने उसका पेटीकोट उतारा तो अन्दर का नजारा देख कर मेरे मुँह में पानी आ गया। चाची की बालों से भरी चूत मेरी आँखों के सामने थी। मुझसे वह दृश्य देख कर रहा नहीं गया। मैं चाची की चूत को चाटने लगा।
चाची की चूत की खुशबू सच में मदहोश कर देने वाली थी। मैं मजे से उसकी बालों वाली चूत को चाट और चूस रहा था। मुझे नहीं पता था। (सेक्सी चाची को चोदो)
चाची जाग रही थी या सो रही थी। मैं तो बस अपनी ही मस्ती में खोया हुआ था।
दो मिनट बाद ही मुझे अपने सिर पर किसी हाथ का दबाव महसूस हुआ। मैंने सिर उठाया तो चाची उठ चुकी थीं।
वो एक हाथ से मेरा सिर सहला रही थी। मैंने चाची की चूत से अपनी जीभ हटाई तो उन्होंने फिर से मुझे अपनी चूत चाटने का इशारा किया।
मैं एक बार फिर से उसकी चूत को चूसने लगा। अब मैंने अपनी जीभ चाची की चूत के अन्दर डाल दी। उसकी चूत के रस का स्वाद मेरे मुँह में आने लगा।
अब मैं एक हाथ से उसकी चुचियों को सहला और दबा रहा था। वो दूसरे हाथ से चाची की जाँघों को सहला रहा था। मेरी जीभ चाची की चूत में अन्दर तक जा रही थी।
अब चाची अपनी चूत को ऊपर की ओर उठाने लगीं। करीब दस मिनट तक मैं चाची की चूत का रस चाटता रहा। अचानक उसकी चूत ने पानी छोड़ दिया।
चूत से पानी निकलने के बाद चाची थोड़ी ढीली हो गईं। चाची की नजर मेरी पैंट पर पड़ी। मेरा लंड मेरी पैंट को भी गीला करने लगा था। मेरे लंड का बुरा हाल हो गया था।
चाची ने मेरी पैंट के ऊपर से मेरे खड़े लंड को सहलाया और दबाया। मेरा लंड लोहे की तरह सख्त हो गया था।
मेरे लंड का आकार और तनाव देख कर चाची के चेहरे पर मुस्कान आ गयी।
उसके बाद उसने मेरी पैंट खोल दी और मेरा अंडरवियर भी नीचे कर दिया।
मेरा लंड देख कर चाची के मुँह से अचानक निकल गया- आह्ह … तुम सच में बड़े हो गए हो … मैंने आज तक अपनी जिंदगी में ऐसा लंड नहीं देखा है।
मैंने कहा- कोई बात नहीं चाची, अब जी भर कर देखो।
ये कहते हुए मैंने अपना लंड चाची के मुँह के पास कर दिया। चाची ने मेरा सना हुआ लंड देखा और उसका सुपारा चाटा और तुरंत पूरा लंड मुँह में ले लिया। मैं आनंद में डूब गया।
चाची मेरा लंड चूसने लगीं। लंड बहुत तनाव में था और मैं रुकने वाला नहीं था। मैंने लंड को चाची के मुँह से बाहर खींच लिया।
चाची हांफते हुए बोलीं- आराम से करो।
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मैंने एक बार फिर से चाची के मुँह में लंड डाल दिया और धक्के लगाने लगा। मैं चाची के मुँह को चोद रहा था।
दो मिनट तक दूसरी बार लंड चूसने के बाद मुझसे रहा नहीं गया और मैंने चाची की टांगें चौड़ी कर दीं। मैंने अपने लंड के सुपारे पर ढेर सारा थूक मल लिया।
लंड को चाची की चूत पर रख कर मैंने एक जोरदार धक्का लगा दिया। चाची चिल्लाने वाली थी लेकिन मैंने चाची के मुँह में हाथ डाल दिया।
मैंने चाची के होंठों पर होंठ रख दिए और लंड को चूत में डाल दिया। मैंने अभी दूसरा धक्का भी नहीं लगाया था कि उससे पहले ही चाची की आंखों से आंसू निकल पड़े। (सेक्सी चाची को चोदो)
दो मिनट रुकने के बाद मैंने फिर से धक्का लगाया। मेरे लंड का सुपारा अन्दर चला गया था।
मैं धीरे धीरे लंड को आगे धकेलता रहा। धीरे-धीरे चाची का दर्द कम हो गया और पूरा लंड चाची की चूत में घुस गया था।
अब चाची मेरे लंड से चुदाई का मजा लेने लगीं। मैं चाची की चूत को चोदने लगा।
चाची के मुँह से कामुक सीत्कार निकलने लगे। साथ ही उनकी बेटी पूनम भी सो रही थी। इसलिए चाची ज्यादा जोर से आवाज नहीं कर रही थीं।
मैं चाची की चूत में जोर जोर से धक्के लगाने लगा। चाची की आंखें बंद होने लगीं। मुझे भी बहुत मजा आ रहा था। मैं भी चाची की चूत चुदाई का पूरा मजा ले रहा था।
मुझे सच में चाची की गर्म चूत चोदने में बहुत मजा आ रहा था।
चाची के निपल्स पूरी तरह से तन गये थे, जिन्हें मैं बीच-बीच में अपने दांतों से काट लेता था। ऐसा करते ही चाची के मुँह से आह्ह… निकल जाती थी।
दस मिनट की चुदाई के बाद अब मेरा भी पानी निकलने वाला था।
मैंने चाची से कहा- मैं झड़ने जा रहा हूँ।
चाची बोलीं- अपने लंड का पानी मेरी चूत के अंदर ही निकालो। मेरी चूत की प्यास बुझा दो।
मैंने चाची की टांगों को घुटनों से पकड़ लिया और चाची की चूत में जोर-जोर से तीन-चार धक्के लगा दिए और मेरा लंड अकड़ने लगा। अचानक मेरे लंड से वीर्य निकलने लगा और मैंने सारा वीर्य चाची की चूत में भर दिया।
उसके बाद मैं थक कर एक तरफ लेट गया। लेकिन दस मिनट बाद ही चाची फिर से मेरा लंड मुँह में लेकर चूसने लगीं। उसके बाद एक बार फिर से मेरा लंड खड़ा हो गया। मैंने फिर से चाची की चूत चोदी।
तीसरी बार मैंने चाची को पूरी नंगी करके घोड़ी बना कर चोदा। इस तरह मैंने चाची की चूत चुदाई का पूरा मजा लिया।
उस रात तीन बार मैंने सेक्सी चाची को चोदो और सुबह तक उन्हें सोने नहीं दिया। इससे पहले कि पूनम उठे, मैंने चाची की चूत की जम कर चुदाई की।
मैंने अपनी चाची से पूनम के बारे में अपनी इच्छा जाहिर की। चाची भी मेरे लंड की दीवानी हो गयी थीं। तभी चाची ने खुद ही पूनम की चूत मारने के लिए हाँ कह दी।
मैंने चाची की बेटी पूनम की चूत कैसे चोदी और चाची ने मेरी कैसे मदद की, यह जानने के लिए जुड़े रहें।
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